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हेमंत सोरेन बिहार इंडी एलायंस की सभा में शामिल होने नहीं बल्कि अपनी सत्ता बचाने के लिए गए थे – प्रतुल शाहदेव

हेमंत सोरेन जी को हर जगह केवल परसेंटेज और इंसेंटिव ही क्यों दिखता है?

रांची। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने पटना की सभा में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की उपस्थिति को अपनी सत्ता को बचाए रखने का प्रयास बताया। प्रतुल ने कहा वस्तुतः वह इंडी एलायंस की सभा में नहीं गए थे, बल्कि झारखंड में अपनी सत्ता कायम रखना उनका मुख्य उद्देश्य था।प्रतुल ने अभिव्यक्ति को लेकर भी उन पर तीखा प्रहार किया। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने वहाँ “SIR” का अर्थ स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन के बजाय स्पेशल इंसेंटिव रिवीजन बता दिया। ऐसा उन्होंने अपने भाषण के दौरान चार बार किया। यह साबित करता है कि हेमंत सोरेन को हर चीज़ में केवल “परसेंटेज” और “इंसेंटिव” ही दिखाई देता है। झारखंड के मुख्यमंत्री की सोच किस मानसिकता से ग्रसित है, यह उनकी जुबान से बार-बार झलकता है।

“झारखंडी अस्मिता को तार-तार कर रहे हैं हेमंत सोरेन”

प्रतुल शाहदेव ने कहा कि झारखंड मुक्ति मोर्चा को इंडी गठबंधन ने बिहार में एक भी सीट नहीं दी। “बड़े बे-आबरू होकर तेरे कूचे से निकले हम” की कहावत इस पर पूरी तरह सटीक बैठती है। इनको बैठकों में निमंत्रण भी नहीं मिला। फिर भी मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन उनकी यात्रा में शामिल हुए। यह झारखंडी अस्मिता के साथ सबसे बड़ा विश्वासघात है।

“सत्ता के लोभ में भूल गए पिता पर हुए अत्याचार”

भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि राहुल गांधी की यात्रा में शामिल होकर हेमंत सोरेन ने यह भी दिखा दिया कि सत्ता के लोभ में वे अपना अतीत भी भूल गए हैं। कांग्रेस ने ही उनके पिता, स्वर्गीय शिबू सोरेन जी को दो-दो बार मुकदमों में फँसाकर जेल भेजा था। जेल में उनका प्रताड़ना का सामना करना पड़ा था।आज उसी कांग्रेस के साथ कदमताल करना झारखंड की जनता के साथ भी अन्याय है और अपने पूर्वजों की विरासत का अपमान है।

प्रतुल शाहदेव ने कहा कि अब झारखंड की जनता झामुमो के असली चेहरे को पहचान चुकी है। भाजपा झारखंडी अस्मिता की रक्षा के लिए हर मोर्चे पर संघर्ष करेगी और जनता के सामने सच लाती रहेगी।


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